Thursday 16 June 2016

कैराना में जो भी होरहा है वह इस्लामिक राष्ट्र बनाने की तैयारी हैं : योगी आदित्यनाथ

उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर से सटे कैराना क्षेत्र से कथित तौर पर हिंदुओं के पलायन की खबरों ने देशभर में हलचल पैदा कर दी है। कैराना मुजफ्फरनगर के पास शामली जिले का क्षेत्र है। इस क्षेत्र में तीन साल पहले बड़े पैमाने पर हिन्दू-मुस्लिम दंगे भड़क गए थे। इन दंगों में कई लोगों की जान गई थी। दंगों के कारण लोगों को लम्बे समय तक अपना घर-बार छोड़कर तम्बू और अस्थायी आवासो में रहना पड़ा था। इस घटना से समाजवादी पार्टी सरकार की बहुत बदनामी हुई थी। अब एक बार फिर से पश्चिमी यूपी को कैराना के बहाने हिन्दू-मुस्लिम सियासत का केन्द्र बनाया जा रहा है। प्रदेश सरकार ये मानने को तैयार नहीं है कि वहां से कोई पलायन हुआ। 

क्या है मामला 
 कैराना से बीजेपी सांसद हुकुम सिंह ने  मीडिया से बातचीत करते हुए पलायन करने वाले करीब 346 परिवारों की सूची जारी की है। हुकुम सिंह ने  इसपर प्रेस कॉन्फ्रेंस की और कहा कि कैराना को कश्मीर बनाने की साजिश की जा रही है। सांसद ने 10 ऐसे लोगों की सूची भी जारी की जिनकी हत्या रंगदारी न देने पर कर दी गई।


 प्रेसवार्ता के दौरान कैराना में बहुसंख्यक समुदाय पर अत्याचार पर कहा कि उन लोगों को जान बूझकर प्रतिष्ठान छोड़ने पर मजबूर किया गया, जो अपना व्यापार कर रहे थे। इनमें से ज्यादातर लोहा, सर्राफा और हार्डवेयर से जुड़े थे। उनसे जबरन वसूली की गई और बाद में घर, प्रतिष्ठान छोड़ने पर मजबूर किया गया। उन्होंने पलायन कर रहे लोगों की तुलना कश्मीरी पंडितों से करते हुए कहा कि कैराना में हालात बद से बदतर हैं।


हुकुम सिंह ने कहा कि गांव जहानपुरा में पहले 60 हिंदू परिवार थे। अब यहां एक भी हिंदू परिवार नहीं है। पंजीठ से भी कई परिवार पलायन कर चुके हैं। पंजीठ गांव से पलायन रोकने के लिए वह खुद प्रयास कर रहे हैं। उन्होंने जिले के हालात को लेकर केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह से पिछले दिनों अपनी मुलाकात का जिक्र भी किया। सांसद ने बताया कि गृह मंत्री राजनाथ खुद प्रकरण को लेकर काफी गंभीर हैं और जून के अंत में कैराना आएंगे। इस मामले की आईबी से जांच भी कराई जाएगी।



 हुकुम सिंह ने बताया कि हिन्दू परिवार मुस्लिमों की हिंसा और हमले से डर कर अपना घर बार छोड़कर जा चुके हैं। कैराना में मुस्लिम असमाजित तत्व चुन-चुन कर हिन्दू व्यापारियों से अवैध वसूली करते हैं और पैसे न देने पर दिन दहाड़े गोली मार देते हैं। हुकुम सिंह के मुताबिक कैराना क्षेत्र के दो सगे भाइयों की हत्या इसी कारण हुई थी। उन्होंने कहा कि जब इसके खिलाफ स्थानीय थाने में शिकायत दर्ज कराने की कोशिश की गयी तो पुलिस ने कोई संज्ञान नहीं लिया। उन्होंने बताया कि क्षेत्र की हिन्दू युवतियों से बलात्कार करके उन्हें जान से मार देने की घटनाएं हो रही हैं, लेकिन प्रशासन कुछ भी करने को तैयार नहीं है।
योगी ने कहा इस्लामिक राष्ट्र बनाने की तैयारी
 भाजपा सांसद योगी आदित्यनाथ ने कहा कि कैराना का मामला एक गंभीर मुद्दा है। 2001-2011 की जनसंख्या पर चर्चा होनी चाहिए। कैराना के जनसंख्या असंतुलन पर केन्द्र सरकार को संज्ञान लेना चाहिए। जनसंख्या असंतुलन के कारण ही पाकिस्तान, अफगानिस्तान, बंगलादेश इस्लामिक देश बन गए। भारत में भी कुछ राज्यों में स्थिति ठीक नहीं है, कश्मीर, केरल, असम, बिहार और बंगलादेश में स्थिति भयावह हो चुकी है। केन्द्र को जनसंख्या असंतुलन की नए सिरे से जांच कराकर राष्ट्रीय जनसंख्या नीति बनाकर नागरिक आचार संहिता लागू करना चाहिए।

पूर्व आइएएस का दावा : कैराना के मोहल्लों में दिन में नहीं घुस सकती पुलिस

कभी मुजफ्फनगर के जिलाधिकारी रहे पूर्व आइएएस सूर्यप्रताप सिंह का दावा है कि कैराना के कुछ मोहल्लों में दिन में भी पुलिस नहीं घुस सकती। फेसबुक पर अपनी पोस्ट के माध्यम से उन्होंने चुनावी दौर में पश्चिमी उत्तर प्रदेश में आग लगाने की कोशिशों का दावा किया है।
'सावधान उत्तर प्रदेश ....चुनावी दौर है' शीर्षक से लिखी अपनी पोस्ट में सूर्यप्रताप ने कहा है कि कैराना को संभालो.... कहीं देर न हो जाए ...स्थिति कभी भी विस्फोटक हो सकती है!!! उन्होंने कैराने से लिखा है, 'मैं मुजफ्फरनगर का कलेक्टर रहा हूं और कैराना की आबोहवा को अच्छी तरह जानता हूं।'
सभी धर्मों का सम्मान करने की बात कहते हुए उन्होंने लिखा है कि कैराना में कुछ मोहल्ले ऐसे हैं, जहां पुलिस दिन में भी नहीं घुस सकती। गुंडागिरी के साथ अवैध असलहों व पशुओं की तस्करी एक पूर्व सांसद के संरक्षण में दिन दहाड़े होती है। इस पूर्व सांसद के अहाते से कभी तस्करी का 25 किलो सोना और कई कुंतल चरस बरामद हुई थी। वहां पुलिस कोतवाली में एक धर्म विशेष का दारोगा ही तैनात करना पड़ता है, वरना कैराना को संभालना मुश्किल हो जाता है।
उन्होंने लिखा है, 'चुनाव के दौरान जब मैं वहां था तो मजिस्ट्रेट व पुलिस का रात में तो कुछ मोहल्लों में घुसने का ही सवाल नहीं पैदा होता था। दिन में भी किसी अपराधी को पकडऩे या तो कोई जाता नहीं था या फिर विशेष व्यवस्था करनी पड़ती थी। हमने चुनाव के दौरान 10 दिन का अभियान चला कर इस पूर्व सांसद व गुर्गों को जेल की हवा खिलाई थी और कैराना को गुंडों से मुक्त कराया था।'
उन्होंने लिखा है कि आज तो और भी भयावह स्थिति होगी क्योंकि गुंडों व अपरधियों को खुला राजनैतिक संरक्षण मिला हुआ है। उन्होंने दावा किया है कि 'यदि विश्वास नहीं है तो जाकर देख लो। परंतु मुझे आशंका है कि इस मामले में ठोस कार्रवाई की जगह सियासत जरूर होगी। उत्तर प्रदेश की वर्तमान सरकार दंगा रोकती नहीं है, स्वयं करवाने में विश्वास रखती है, ऐसी मेरी आशंका है।'

कैराना जैसा हालात जबलपुर में भी


जबलपुर शहर के चार खंभा, ठक्करग्राम, सिंधी कैंप, नया मोहल्ला, छोटी ओमती और गढ़ा कामुजावीर मोहल्ला में हिन्दू आबादी अल्पसंख्यक है। यहां रहने वाले समुदाय को कई तरह की समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है।



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